बिरजू महाराज

विश्व विख्यात कथक नर्तक (1939-2022)

पंडित बृजमोहन मिश्र (जिन्हें बिरजू महाराज भी कहा जाता है)(४ फ़रवरी १९३८ - १७ जनवरी २०२२) प्रसिद्ध भारतीय कथक नर्तक थे। वे शास्त्रीय कथक नृत्य के लखनऊ कालिका-बिन्दादिन घराने के अग्रणी नर्तक थे।[1] पंडित जी कथक नर्तकों के महाराज परिवार के वंशज थे जिसमें अन्य प्रमुख विभूतियों में इनके दो चाचा व ताऊ, शंभु महाराज एवं लच्छू महाराज; तथा इनके स्वयं के पिता एवं गुरु अच्छन महाराज भी आते हैं। हालांकि इनका प्रथम जुड़ाव नृत्य से ही है, फिर भी इनकी गायकी पर भी अच्छी पकड़ थी, तथा ये एक अच्छे शास्त्रीय गायक भी थे।[2] इन्होंने कत्थक नृत्य में नये आयाम नृत्य-नाटिकाओं को जोड़कर उसे नई ऊंचाइयों तक पहुंचाया।[3] इन्होंने कत्थक हेतु '''कलाश्रम''' की स्थापना भी की है। इसके अलावा इन्होंने विश्व पर्यन्त भ्रमण कर सहस्रों नृत्य कार्यक्रम करने के साथ-साथ कत्थक शिक्षार्थियों हेतु सैंकड़ों कार्यशालाएं भी आयोजित की।

बिरजू महाराज
पृष्ठभूमि
जन्म4 फ़रवरी 1938 (1938-02-04) (आयु 86)
लखनऊ, उत्तर प्रदेश
मूलस्थानभारत
निधन१७ जनवरी २०२२
विधायेंहिन्दुस्तानी शास्त्रीय संगीत
पेशाशास्त्रीय नर्तक
सक्रियता वर्ष१९५१ – १६.०१.२०२२
वेबसाइटbirjumaharaj-kalashram.com

अपने चाचा, शम्भू महाराज के साथ नई दिल्ली स्थित भारतीय कला केन्द्र, जिसे बाद में कत्थक केन्द्र कहा जाने लगा; उसमें काम करने के बाद इस केन्द्र के अध्यक्ष पर भी कई वर्षों तक आसीन रहे। तत्पश्चात १९९८ में वहां से सेवानिवृत्त होने पर अपना नृत्य विद्यालय कलाश्रम भी दिल्ली में ही खोला।[3][4]बिरजू महाराज जी की मृत्यु 16 जनवरी 2022 को हुई ।

आरम्भिक जीवन तथा पृष्ठभूमि

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बिरजू महाराज का जन्म कत्थक नृत्य के लिये प्रसिद्ध जगन्नाथ महाराज के घर हुआ था, जिन्हें लखनऊ घराने के अच्छन महाराज कहा जाता था। ये रायगढ़ रजवाड़े में दरबारी नर्तक हुआ करते थे।[5] इनका नाम पहले दुखहरण रखा गया था, क्योंकि ये जिस अस्पताल पैदा हुए थे, उस दिन वहाँ उनके अलावा बाकी सब कन्याओं का ही जन्म हुआ था, जिस कारण उनका नाम बृजमोहन रख दिया गया। यही नाम आगे चलकर बिगड़ कर 'बिरजू' और उससे 'बिरजू महाराज' हो गया।[3]

इनको उनके चाचाओ लच्छू महाराज एवं शंभु महाराज से प्रशिक्षण मिला, तथा अपने जीवन का प्रथम गायन इन्होंने सात वर्ष की आयु में दिया। २० मई, १९४७ को जब ये मात्र ९ वर्ष के ही थे, इनके पिता का स्वर्गवास हो गया।[6] परिश्रम के कुछ वर्षोपरान्त इनका परिवार दिल्ली में रहने लगा।

व्यावसायिक जीवन

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बिरजू महाराज ने मात्र १३ वर्ष की आयु में ही नई दिल्ली के संगीत भारती में नृत्य की शिक्षा देना आरम्भ कर दिया था। उसके बाद उन्होंने दिल्ली में ही भारतीय कला केन्द्र में सिखाना आरम्भ किया। कुछ समय बाद इन्होंने कत्थक केन्द्र (संगीत नाटक अकादमी की एक इकाई) में शिक्षण कार्य आरम्भ किया। यहां ये संकाय के अध्यक्ष थे तथा निदेशक भी रहे। तत्पश्चात १९९८[7] में इन्होंने वहीं से सेवानिवृत्ति पायी। इसके बाद कलाश्रम नाम से दिल्ली में ही एक नाट्य विद्यालय खोला।

इन्होंने सत्यजीत राय की फिल्म शतरंज के खिलाड़ी की संगीत रचना की, तथा उसके दो गानों पर नृत्य के लिये गायन भी किया। इसके अलावा वर्ष २००२ में बनी हिन्दी फ़िल्म देवदास में एक गाने काहे छेड़ छेड़ मोहे का नृत्य संयोजन भी किया। [8] इसके अलावा अन्य कई हिन्दी फ़िल्मों जैसे डेढ़ इश्किया, उमराव जान तथा संजय लीला भन्साली निर्देशित बाजी राव मस्तानी में भी कत्थक नृत्य के संयोजन किये।

पुरस्कार एवं सम्मान

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बिरजू महाराज को तत्कालीन राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी सर्वश्रेष्ठ नृत्य निर्देशन हेतु राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार देते हुए

बिरजू महाराज को अपने क्षेत्र में आरम्भ से ही काफ़ी प्रशंसा एवं सम्मान मिले, जिनमें १९८६ में पद्म विभूषण, संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार तथा कालिदास सम्मान प्रमुख हैं। इनके साथ ही इन्हें काशी हिन्दू विश्वविद्यालय एवं खैरागढ़ विश्वविद्यालय से डॉक्टरेट की उपाधि मानद मिली।

  1. देश के कत्थक घराने Archived 2017-02-02 at the वेबैक मशीन।दुनिया में है नाम।पत्रिका।२२-०२-२०१५
  2. काउई, बनोत्सर्ग-बोघज़ (2002). सुबोध कपूर (संपा॰). द इण्डियन एन्साइक्लोपीडिया: बायोग्रॅफिकल, हिस्टॉरिकल, रिलीजियस, एड्मिनिस्ट्रेटिव, एथ्नोलॉजिकल, कॉमर्शियलएण्ड साइन्टिफ़िक। खण्ड:३. जेनेसिस पब्लिशिंग. पृ॰ 198. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 81-7755-257-0. मूल से 15 फ़रवरी 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 13 फ़रवरी 2017.
  3. बिरजू महाराज जिन्होंने कत्थक को नई पहचान दी Archived 2017-02-14 at the वेबैक मशीन।बीबीसी हिंदी। प्रीति मान, फ़ोटो पत्रकार।21 नवंबर 2015
  4. Massey, p. 29
  5. अच्छन महाराज Archived 2017-02-02 at the वेबैक मशीन(अंग्रेज़ी)
  6. Buddhiraja, Sunita. "Birju Maharaj – Kathak personified". Deccan Herald. मूल से 10 December 2004 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 25 March 2007.
  7. Bhattacharya, Santwana. "Birju Maharaj retires". Indian Express. मूल से 1 अप्रैल 2007 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 25 March 2007.
  8. इंटरनेट मूवी डेटाबेस पर बिरजू महाराज
  9. "Hema Malini selected for Bharat Muni Samman – Hindustan Times". hindustantimes.com. 2012. मूल से 13 दिसंबर 2012 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 28 December 2012. The earlier recipients are Thankamani Kutty, Pandit Birju Maharaj,
  10. "Hema Malini receives Bharat Muni Samman: Wonder Woman – Who are you today?". wonderwoman.intoday.in. 2012. मूल से 17 अक्तूबर 2015 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 28 December 2012. The earlier recipients are Thankamani Kutty (Bharatanatyam), Pandit Birju Maharaj (kathak),
  11. Press Information Bureau (PIB), India (PDF). 60th National Film Awards Announced. प्रेस रिलीज़. http://pib.nic.in/archieve/others/2013/mar/d2013031801.pdf. अभिगमन तिथि: 18 March 2013. 

बाहरी कड़ियाँ

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