राजा भोज विमानक्षेत्र
भोपाल विमानक्षेत्र
राजा भोज विमानक्षेत्र(भोपाल विमानक्षेत्र) (आईएटीए: BHO, आईसीएओ: VABP) मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में स्थित है। यह एक नागरिक हवाई अड्डा है। यह राजधानी भोपाल को वायु सेवा प्रदान करने वाला प्राथमिक विमानक्षेत्र है। हवाई अड्डा शहर के गांधीनगर क्षेत्र में मुख्य शहर के केन्द्र से लगभग 15 कि॰मी॰ (9.3 मील) उत्तर-पश्चिमी छोर पर स्थित है राष्ट्रीय राजमार्ग १२ पर स्थित है। यह राज्य का दूसरे स्थान पर व्यस्ततम हवाई अड्डा है, जहाम सबसे व्यस्त देवी अहिल्याबाई होल्कर विमानक्षेत्र, इंदौर में है। भोपाल विमानक्षेत्र का नाम १०वीं शताब्दी के प्रसिद्ध परमार वंश के राजा भोज के नाम पर रखा गया है। इन्हीं राजा भोज के नाम पर राजधानी भोपाल का नाम भी भोजपाल से बिगड़कर भोपाल हो गया है।[2]
राजा भोज अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा | |||||||||||||||
---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|
विवरण | |||||||||||||||
हवाईअड्डा प्रकार | सार्वजनिक | ||||||||||||||
स्वामित्व | मध्य प्रदेश सरकार | ||||||||||||||
संचालक | भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण | ||||||||||||||
सेवाएँ (नगर) | भोपाल, सीहोर, होशंगाबाद, मध्यप्रदेश | ||||||||||||||
स्थिति | राष्ट्रीय राजमार्ग १२ पर भोपाल शहर से उत्तर-पश्चिम 15 कि॰मी॰ (9.3 मील) दूर गांधी नगर क्षेत्र में। | ||||||||||||||
समुद्र तल से ऊँचाई | 1,719 फ़ीट / 524 मी॰ | ||||||||||||||
वेबसाइट | www | ||||||||||||||
मानचित्र | |||||||||||||||
उड़ानपट्टियाँ | |||||||||||||||
| |||||||||||||||
सांख्यिकी (२०१४) | |||||||||||||||
| |||||||||||||||
Source: भा.वि.प्रा.,[1] |
एयरलाइंस और गंतव्य
संपादित करेंअन्तर्देशीय
संपादित करेंवायुसेवाएं | गंतव्य |
---|---|
एयर इंडिया | दिल्ली, मुंबई, |
जेट एयरवेज़ | अहमदाबाद, दिल्ली, मुंबई, रायपुर, हैदराबाद |
अन्तर्राष्ट्रीय
संपादित करेंवायुसेवाएं | गंतव्य |
---|---|
एयर इंडिया | हज: जेद्दाह |
साउदिया | हज: जेद्दाह |
चित्र दीर्घा
संपादित करें-
नया विमानतल
-
बाहरी दृश्य
-
हवाई दृश्य
-
अंदर से
-
एयर ट्रैफिक कंट्रोल कॉम्पलेक्स
-
अंदर से
- ↑ "TRAFFIC STATISTICS – DOMESTIC & INTERNATIONAL PASSENGERS". aai.aero. मूल (jsp) से 3 जनवरी 2015 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 31 December 2014.
- ↑ कृषि उपज मण्डी, भोपाल Archived 2017-02-03 at the वेबैक मशीन|भोपाल का इतिहास