त्रिपुर सुंदरी मंदिर, त्रिपुरा

त्रिपुरसुन्दरी मंदिर या त्रिपुरेश्वरी मन्दिर अगरतला-सबरूम मार्ग पर उदयपुर शहर से तीन किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।

त्रिपुर सुंदरी मंदिर, त्रिपुरा
धर्म संबंधी जानकारी
सम्बद्धताहिन्दू धर्म
अवस्थिति जानकारी
अवस्थितिउदयपुर, त्रिपुरा
वास्तु विवरण
प्रकारबंगाली
निर्मातामहाराजा धन्य माणिक्य देबबर्मा

इस मंदिर का निर्माण महाराजा धन्य माणिक्य के शासनकाल में 1501 ई. के दौरान करवाया गया था। यह मंदिर भारत के 51 महापीठों में से एक है।

पौराणिक सन्दर्भ

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पौराणिक कथा के अनुसार, इस स्थान पर माता सती के सीधे पैर के अंगुलियों के निशान आज भी मौजूद है। यह मंदिर राज्य के प्रमुख पयर्टन स्थलों में से एक है। हजारों की संख्या में भक्त प्रतिदिन मंदिर में माता के दर्शनों के लिए आते हैं।

दिवाली के दौरान माता त्रिपुरा सुंदरी मंदिर में भव्‍य स्तर पर दीवाली मेले का आयोजन किया जाता है। जिसमें प्रत्येक वर्ष लाखों की संख्या लोग इस मेले में सम्मिलित होते हैं। राजमाला के अनुसार, मंदिर का निर्माण करने के पश्चात् मंदिर में भगवान विष्णु की मूर्ति स्थापित की गई थी। लेकिन एक रात महाराजा धन्य माणिक्य के सपने में महा माया आई और उससे कहा कि वह उनकी मूर्ति को चित्तौंग से इस स्थान पर रख दें। इसके बाद माता त्रिपुरा सुंदरी की स्थापना इस मंदिर में कर दी गई।

बाहरी कड़ियाँ

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